अनिर्णित आख्यान

अनिर्णित आख्यान मोबाइल पर हाथ जाते ही सीधे फेसबुक पर उंगलियां चहलकदमी करना शुरू कर देती हैं। फेसबुक पर नए मित्रों की,कुछ पुराने मित्रों की फोटो पोस्ट दिख रही है। लाइक कमेंट का खेल चल रहा है। कुछ पोस्ट पूरी पढी, कुछ आधी- अधूरी पढ़कर कमेंट कर दिया। कहां तक सबको पूरा पढ़े ,पर कुछ…

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कैक्टस

कैक्टस मन को किसी करवट चैन नहीं मिल रहा।बहुत चाव था,बेटे को डॉक्टर बनाने का।क्या कमी की मैंने।अच्छी से अच्छी कोचिंग दिलवाई। कोचिंग सेंटर आने-जाने के लिये,साहेबज़ादे अड़ गये,बाइक चाहिये,वो भी दिलवाई। ये दूसरा साल था मेडिकल के एंट्रेंस एक्जाम में बैठने का उसका।इस वर्ष भी क्लीयर न कर पाया।उसकी इन असफलताओं का भले ही…

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कुछ कही कुछ अनकही 

कुछ कही कुछ अनकही    एक थी केतकी ,पहाड़ों की खुशनुमा वादियों में अपने रूप रंग की खुशबू बिखेरती,हिरनी सी कुलांचें भरती, इस बुग्याल से उस बुग्याल तक दौड़ती चली जाती थी बस अपने आप में खोई हुई,अपने आप में मगन।दीन दुनिया से कोई वास्ता न था बस अपनी ही धुन में किसी भी टीले…

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चौथा कंधा   

चौथा कंधा      रवि को आशा थी कि इस महीने के बाद लॉक डाउन खुल जाएगा और जिंदगी फिर पटरी पर आ जाएगी। मगर 6 हफ्ते लॉकडाउन और बढ़ने से उसकी चिंता बढ़ गई । उसने साजिद से कहा “हमने क्या सोचा था क्या हो गया ? यदि लॉकडाउन इसके बाद भी बढ़ा दिया…

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बिना पते की चिठ्ठी

बिना पते की चिठ्ठी मेरे घर के आगे एक छोटा बगीचा है जिसमें मैंने नारियल, नींबू, अमरूद, चम्‍पा, रातरानी, आम के पेड़ लगा रखे हैं। छोटी क्‍यारियों में गेंदा, चमेली, उड़हुल के फूल हैं। उड़हुल के भी कितने रंग है ना। जब छोटी थी तब केवल लाल या गुलाबी रंग के उड़हुल के फूल हुआ…

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श्वान

श्वान यह एक अलसाई-सी सुबह थी। उधर सुरमई बादलों के पीछे से झाँकता सूरज बाहर आने से कतरा रहा था और इधर मेरा भी रजाई से बाहर निकलने का मन नहीं था। बादलों के पीछे से आती पीली, मंद रोशनी की किरणें नींद को रोकने का असफल प्रयास कर रही थीं। ऐसा लग रहा था…

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शुरुआत

शुरुआत सारे घर में आज एक बार फिर से खूब चहल-पहल थी। हर कोना बड़े मनोयोग से सजाया जा रहा था। विभिन्न आकृतियों वाले गुब्बारे, रंग बिरंगी बंदनवार , फूल, जिस जिसने जो भी सुझाव दिया था, महक ने हर उस चीज का इस्तेमाल किया था। खासतौर पर बैठक में, जहाँ आज शाम को यह…

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अंकुरण

        अंकुरण रिंगटोन के बजते ही फोन के स्क्रीन पर अल्फाबेट के जिन सदस्यों ने एक परिचित नाम को उकेरा, वैसे ही भय और उत्साह दोनों की ही बेमेल संगति ने हृदय के धड़कने की गति को मानो बेलगाम कर दिया। मेरी आशंकाओं के विरुद्ध फोन के दूसरी तरफ आश्वस्तिपूर्ण ध्वनितरंगें पृथ्क…

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खाद पानी 

खाद पानी  “….वो डॉक्टर अजीब है। बोली, विनी, ठीक है। अरे! ऐसे कैसे? पहले तो पढ़ाई में अव्वल, म्यूजिक में आगे, स्केटिंग में बढ़िया, स्टोरी टेलिंग गज़ब की, जर्मन सीखने में अच्छी, कराटे, कॉडिंग में भी रुचि, साइंस ओलम्पियाड़ और अबेकस में बढ़ीया। ज़रा ड्रॉइंग कॉम्पिटिशन में नाम ना आया, तो सबमें डब्बा गुल। वो…

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धीरे धीरे रे मना

धीरे धीरे रे मना “अरे चुन्नू ! क्या सारा दिन खेलते रहोगे। आज तो सूरज उगते ही अपना क्रिकेट बल्ला सम्भाल लिया। पता है, बारह माही परीक्षा सर पर आ गई है।पढ़ाई के लिए स्कूल ने तुम्हें छुट्टी दे रखी है।और मैं भी तुम्हारे लिए घर पर हूँ, ऑफिस से छुट्टी लेकर। छः माही का…

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